Tag Archives | India

“Modern Era” in Hindi Language

आधुनिककाल । “Modern Era” in Hindi Language! आधुनिक हिन्दी कविता की मुख्य प्रवृत्तियां (विशेषताएं) 1900 से आज तक: आधुनिक हिन्दी कविता का प्रारम्भ संवत् 1900 से माना जाता है । इस काल में सामाजिक, राजनैतिक और सांस्कृतिक दृष्टि से जो परिवर्तन हुए, उनके परिणामस्वरूप हिन्दी साहित्य में नयी चेतना आयी । काव्य में भाषा, भाव तथा शैली की दृष्टि से [...]

By |2016-11-24T10:38:03+00:00November 24, 2016|Essays|Comments Off on “Modern Era” in Hindi Language

“Mahaveer Jayanti” in Hindi Language

महावीर जयन्ती । “Mahaveer Jayanti” in Hindi Language! 1. प्रस्तावना । 2. महावीर जयन्ती का महत्त्व । 3. उपसंहार । 1. प्रस्तावना: भारतीय समाज में जैन समुदाय अपना विशिष्ट स्थान रखता है । हिन्दू धर्म की तरह यह धर्म भी प्राणिमात्र के प्रति अहिंसा का भाव रखता है । त्याग, अपरिग्रह, नियम, संयम, सदाचार इस धर्म के आदर्श रहे हैं [...]

By |2016-11-24T10:38:01+00:00November 24, 2016|Essays|Comments Off on “Mahaveer Jayanti” in Hindi Language

“Pre-Medieval Era” in Hindi Language

भक्तिकाल । “Pre-Medieval Era” in Hindi Language! भक्तिकाल (पूर्व मध्यकाल) की प्रवृत्तियां: भक्तिकाल का विभाजन: (1375 से 1700 तक) 1. निर्गुण काव्यधारा: (क) ज्ञानमार्गी (ख) प्रेममार्गी 2. सगुण काव्यधारा: (क) रामभक्ति शाखा (कृष्णभक्ति शाखा) भक्तिकाल की विशेषताएं: 1. साहित्य का स्वर्णयुग:  हिन्दी साहित्य के इतिहास में भक्तिकाल अपनी असाधारण एवं अभूतपूर्व विशेषताओं के परिणामस्वरूप हिन्दी साहित्य का स्वर्णयुग कहा जाता [...]

By |2016-11-24T10:37:58+00:00November 24, 2016|Essays|Comments Off on “Pre-Medieval Era” in Hindi Language

“Progressive Era” in Hindi Language

प्रगतिवादी युग । “Progressive Era” in Hindi Language! प्रगतिवादी युग (सन् 1936-1943): राजनीति के क्षेत्र में जो मार्क्सवाद है, कविता के क्षेत्र में वही प्रगतिवाद है । प्रगतिवादी विचारधारा, समाज के हर वर्ग की प्रगति में विश्वास रखती है । किसानों, मजदूरों तथा समाज के शोषित वर्गो के प्रति समानता पर बल देती है । उन पर होने वाले शोषण [...]

By |2016-11-24T10:37:56+00:00November 24, 2016|Essays|Comments Off on “Progressive Era” in Hindi Language

“Pongal and Onam” in Hindi Language

पोंगल और ओणम का त्योहार । “Pongal and Onam” in Hindi Language! 1. प्रस्तावना । 2. पोंगल और  ओणम का महत्त्व । 3. मनाने की रीति । 4. उपसंहार । 1. प्रस्तावना: त्योहारों के देश भारत में प्रत्येक त्योहार की अपनी अलग विशेषता है । हर त्योहार अनूठा है, विलक्षण है । चाहे वह होली हो, दीपावली हो या दशहरा [...]

By |2016-11-24T10:37:55+00:00November 24, 2016|Essays|Comments Off on “Pongal and Onam” in Hindi Language

“The Heroic Era” in Hindi Language

वीरगाथा काल । “The Heroic Era” in Hindi Language! काल-विभाजन हिन्दी साहित्य का विकास, काव्य साहित्य से ही प्रारम्भ हुआ । आचार्य रामचन्द्र शुक्लजी ने 'हिन्दी साहित्य के इतिहास' में काव्य साहित्य को उनकी प्रवृतियों के आधार पर चार भागों में बांटा है । इन चारों कालों का क्रमानुसार विभाजन इस प्रकार है । 1. वीरगाथा काल या आदिकाल वि॰ [...]

By |2016-11-24T10:37:49+00:00November 24, 2016|Essays|Comments Off on “The Heroic Era” in Hindi Language

“Riti Kal” in Hindi Language

रीतिकाल । “Riti Kal” in Hindi Language! रीतिकाल की प्रमुख काव्य प्रवृत्तियां (1700-1900) रीतिकाल: हिन्दी साहित्य के मध्ययुग के उत्तरा (बाद का) काल है । रीति की प्रधानता के कारण इसे रीतिकाल के नाम से जाना जाता है । रीति शब्द का प्रचलित अर्थ है-काव्य की प्रणाली, पद्धति या शैली । चूंकि इस काल में अलंकार तथा शृंगार रस की [...]

By |2016-11-24T10:37:15+00:00November 24, 2016|Essays|Comments Off on “Riti Kal” in Hindi Language

“The Rainy Season” in Hindi Language

वर्षा ऋतु । “The Rainy Season” in Hindi Language! 1. प्रस्तावना । 2. वर्षा का आगमन । 3. प्रकृति पर वर्षा का प्रभाव । 4. महत्त्व । 5. उपसंहार । 1. प्रस्तावना: जब सूर्य की प्रचण्ड किरणें धरती को जलाने लगती हैं, ऐसे में धरती के सभी प्राणी आकुल-व्याकुल हो उठते हैं, नदियां, ताल-तलैया सब सुख जाते हैं, तब प्यासी [...]

By |2016-11-24T10:37:12+00:00November 24, 2016|Essays|Comments Off on “The Rainy Season” in Hindi Language

“The Summer Season” in Hindi Language

ग्रीष्म ऋतु । “The Summer Season” in Hindi Language! 1. प्रस्तावना । 2. ग्रीष्म का आगमन । 3. ग्रीष्म का प्रभाव । 4. प्रकृति पर प्रभाव । 5. महत्त्व । 6. उपसंहार । 1. प्रस्तावना: भारत की भौगोलिक संरचना काफी विविधताओं से भरी हुई है । कहीं पर्वत हैं, कहीं नदियां हैं, कहीं नाले हैं, तो कहीं बर्फीली चोटियां, तो [...]

By |2016-11-24T10:37:07+00:00November 24, 2016|Essays|Comments Off on “The Summer Season” in Hindi Language

Importance of Hindi in Hindi Language

हिन्दी का महत्त्व । Importance of Hindi in Hindi Language! 1. प्रस्तावना । 2. हिन्दी का विकास । 3. हिन्दी की विशेषताएं । 4. उपसंहार । 1. प्रस्तावना: उर्दू संसार में कुल मिलाकर अट्ठाइस सौ भाषाएं हैं । उनमें तेरह ऐसी भाषाएं हैं, जिनके बोलने वालों की संख्या सात करोड़ से अधिक है । दुनिया की भाषाओं में हिन्दी भाषा [...]

By |2016-11-24T10:37:06+00:00November 24, 2016|Essays|Comments Off on Importance of Hindi in Hindi Language

Biography of Bhisham Sahni in Hindi Language

भीष्म साहनी । Biography of Bhisham Sahni in Hindi Language! 1. प्रस्तावना । 2. जीवन परिचय एवं रचनाकर्म । 3. उपसंहार । 1. प्रस्तावना: हिन्दी के कथाकारों में भीष्म साहनी एक सशक्त कलमकार हैं, जो नयी कहानी के उन कथाकारों में हैं, जिन्होंने गुलाम भारत के दर्द को न केवल देखा है, वरन् महसूसा भी किया है । भीष्म को [...]

By |2016-11-24T10:37:03+00:00November 24, 2016|Biographies|Comments Off on Biography of Bhisham Sahni in Hindi Language

Biography of Bhawani Prasad Mishra in Hindi Language

भवानीप्रसाद मिश्र । Biography of Bhawani Prasad Mishra in Hindi Language! 1. प्रस्तावना । 2. जीवन परिचय एवं रचनाकर्म । 3. उपसंहार । 1. प्रस्तावना: भवानीप्रसाद मिश्रजी हिन्दी के ऐसे कवि रहे हैं, जो अपनी सादगी, सहजता और ताजगी के कारण जाने जाते हैं । उनकी कविताओं में ऐसा प्रवाह है, जो मानव के अन्तर्जगत को छूता चलता है । [...]

By |2016-11-24T10:36:58+00:00November 24, 2016|Biographies|Comments Off on Biography of Bhawani Prasad Mishra in Hindi Language

Biography of Father Camille Bulcke in Hindi Language

फादर कामिल बुल्के । Biography of Father Camille Bulcke in Hindi Language!  1. प्रस्तावना । 2. जीवन परिचय एवं रचनाकर्म । 3. उपसंहार । 1. प्रस्तावना: एक विदेशी होते हुए भी  हिन्दी के प्रति अगाध प्रेम, अनन्य निष्ठा एवं उसके प्रति समर्पण एवं सेवा-भाव रखने वाले एक महान् व्यक्तित्व थे-फादर कामिल बुल्के । फादर कामिल बुल्के आज भी उन लोगों [...]

By |2016-11-24T10:36:55+00:00November 24, 2016|Biographies|Comments Off on Biography of Father Camille Bulcke in Hindi Language

Biography of Maithilisharan Gupta in Hindi Language

राष्ट्रकवि मैथिलीशरण गुप्त । Biography of Maithilisharan Gupta in Hindi Language! 1. प्रस्तावना । 2. जीवन परिचय व रचनाकर्म । 3. उपसंहार । 1. प्रस्तावना: मैथिलीशरण गुप्त राष्ट्रीय चेतना के ऐसे कवि थे, जिनकी कविताओं में भारतीय संस्कृति के आदर्शो का सुन्दर चित्रण भी मिलता है । मानवतावादी तथा लोककल्याण का भाव उनकी कविताओं का मल स्वर हैं । वे [...]

By |2016-11-24T10:36:53+00:00November 24, 2016|Biographies|Comments Off on Biography of Maithilisharan Gupta in Hindi Language

Biography of Makhanlal Chaturvedi in Hindi Language

माखनलाल चतुर्वेदी । Biography of Makhanlal Chaturvedi in Hindi Language! 1. प्रस्तावना । 2. जीवन वृत एवं रचनाकर्म । 3 उपसंहार । 1. प्रस्तावना: कवि माखनलाल चतुर्वेदी को एक ''भारतीय आत्मा” के नाम से जाना जाता है । वह राष्ट्र के उन क्रान्तिकारी कवियों में से एक हैं, जिन्होंने न केवल स्वतन्त्रता आन्दोलन में सक्रिय रूप से भाग लिया, वरन् [...]

By |2016-11-24T10:36:52+00:00November 24, 2016|Biographies|Comments Off on Biography of Makhanlal Chaturvedi in Hindi Language

Biography of Mohan Rakesh in Hindi Language

मोहन राकेश । Biography of Mohan Rakesh in Hindi Language! 1. प्रस्तावना । 2. जन्म परिचय एवं रचनाकर्म । 3. उपसंहार । 1. प्रस्तावना: हिन्दी साहित्य में मोहन राकेश पहले एक कहानीकार, इसके बाद उपन्यासकार और फिर एक नाटककार के रूप में सामने आये । वे एक सशक्त निबन्धकार और अनुवादक थे । उनके लेखन की विविधता, समग्रता अपने समय, [...]

By |2016-11-24T10:36:50+00:00November 24, 2016|Biographies|Comments Off on Biography of Mohan Rakesh in Hindi Language
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