प्राचीन काल से ही मानव-समाज के विकास के साथ उसमें अनेक प्रथाएँ जन्म लेती रही हैं । भिन्न-भिन्न समाज अथवा सम्प्रदायों ने अपनी सुविधा अनुसार प्रथाओं को जन्म दिया, लेकिन किसी भी समाज की प्रथा में उस समाज का हित विद्यमान रहता था । समय के साथ मानव हित में रीति-रिवाजों अथवा प्रथाओं में परिवर्तन […]